युधामन्युश्च विक्रान्त उत्तमौजाश्च वीर्यवान् ।
सौभद्रो द्रौपदेयाश्च सर्व एव महारथाः ॥६॥
अर्थ:
पराक्रमी युधामन्यु, अत्यन्त शक्तिशाली उत्तमौजा, सुभद्रा का पुत्र तथा द्रौपदी के पुत्र-ये सभी महारथी हैं।
तात्पर्य :
यहां संजय धृतराष्ट्र को युद्ध भूमि की वास्तविकता के बारे में बता रहे हैं कि किस प्रकार यह युद्ध कोरवों के लिए अत्यंत कठिन प्रतीत होता है।
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